आप आदिवासी हैं तो क्या आपको झारखण्ड लूटने का लाइसेंस मिल गया और जब SIT PM मोदी से 10 घंटे पूछताछ कर सकती है तो आप से ED क्यों नहीं सवाल कर सकतीः बाबूलाल
आदिवासी होने के कारण राज्य को लूटने की छूट हेमंत सरकार को नही दी जा सकती है। जब तक इस लुटेरी सरकार को उखाड़ कर नही फेकेंगे तब तक चैन से नही बैठेंगे। ये बातें आज भाजपा विधायक दल के नेता सह पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने प्रदेश कार्यालय में आयोजित प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कही।
श्री मरांडी ने हेमंत सरकार पर हमला करते हुए कहा कि मैँने डेढ़ साल पहले ही इस सरकार को साहेबगंज में खनिज पदार्थों की अवैध खनन और लूट के सम्बंध में विपक्षी दल होने का धर्म निभाते हुए पत्र लिखकर, ट्विटर, फेसबुक तथा प्रेस के माध्यम से आगाह करते रहने की कोशिश की थी लेकिन यह सरकार मेरी बातों को गंभीरता से नही ली और लूट की घटना को होने दी। सरकार के संरक्षण में रात्रि समय जल मार्ग से माल ढुलाई की नियम को भी धत्ता बताते हुए ढुलाई होने दिया गया। उसका नतीजा है आज साहेबगंज की खनिज पदार्थों की लूट की कहानी। केवल एक जिला में एक हजार करोड़ रुपए का घोटाला।
विपक्ष का काम सरकार को सही मार्ग पर लाना
उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में सत्ता और विपक्ष दो पहिये की तरह होते है सत्ता में जो दल रहता है वो सरकार चलाती है। अगर सरकार रास्ते से भटक जाए तो विपक्ष उसे रास्ते मे लाने की कोशिश करती है। लोकतंत्र की यही खूबसुरती है। लेकिन राज्य की हेमन्त सरकार लोकतंत्र की मर्यादा से बाहर जा रही है और विपक्ष जो सरकार के काले कारनामे की पोल खोल रही है उसे डराने और धमकाने की कोशिश करती है। इस सरकार में अमूमन देखा जाता है कि राज्य की पुलिस का प्रयोग एक टूल की तरह किया जाता है जबकि पुलिस का काम है अपराधियों को पकड़ने की। हद तो तब हो जाती है जब पुलिस शिकायत करने वालों को ही गिरफ्तार करके झूठे मुकदमों में फंसा दिया जाता है।
भाजपा कार्यकर्ताओं को धमकाने का काम बंद करें हेमन्त
श्री मरांडी ने राज्य के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन के द्वारा भाजपा के कार्यकर्ताओं को धमकी देने पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि भाजपा वाले लगातार हेमन्त सरकार की भ्रष्टाचार के खिलाफ सड़क से लेकर सदन तक आवाज उठाते रहते हैं, इसलिए उससे परेशान होकर हेमन्त सरकार उलजुलूल बयानबाजी कर रही है। अब उन्हें डराने और धमकाने का काम कर रहे हैं। ऐसी धमकियों से भाजपा के कार्यकर्ता डरने वाले नही है। हम सब उसका मुकाबला डट कर करेंगे।
उन्होंने मीडिया बंधुओं से आग्रह करते हुए कहा कि भाजपा की प्रखंडों में होने वाली धरना प्रदर्शन के खबरों को प्रमुखता से छापे ताकि सरकार को भाजपा के कार्यकर्ताओं को पहचानने में मुश्किल न हो और मेहनत न करना पड़े उन पर कार्रवाई करने में। श्री मरांडी ने कहा कि मुख्यमंत्री हमेशा आदिवासी होने का रोना रोते रहते है तो उनको बताना चाहिये कि क्या आदिवासी होने के कारण उनको राज्य की जनता सत्ता सौंप कर राज्य की सम्पति को लूटने का लाइसेंस दे दी है। आप राज्य के कस्टोडियन है इसकी रक्षा करना आपकी जिम्मेदारी है अगर आप इसे लुटाइयेगा तो भाजपा चुप नही बैठेगी।
परम्परा का निर्वहण करें ईडी के समक्ष उपस्थित हो
श्री मरांडी ने राज्य के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन को इडी के द्वारा समन भेजे जाने के सवाल के जबाब में कहा कि यह घटना कोई पहली घटना नहीं है। इससे पहले मोदी जी जब गुजरात के मुख्यमंत्री थे तो उन्हें भी एसआईटी के द्वारा 10 घंटे तक पूछताछ की जा चुकी है और वे सरलता और सहजता के साथ एसआईटी के पास गए थे। आडवाणी जी पर जब आरोप लगा था तो वे संसद से इस्तीफा दे दिया था और घोषणा की थी कि जब तक आरोपमुक्त नही हो जाऊंगा संसद में नही आऊंगा। लेकिन आज जिस प्रकार से हेमन्त सोरेन को इडी के द्वारा पूछताछ के लिए बुलाया गया है उसपर तमाशा किया जा रहा है वो बहुत ही हास्यास्पद है। मुख्यमंत्री को ईडी के समक्ष उपस्थित होकर अपनी बात रखनी चाहिए।
इस सरकार में दलाल और विचौलिये हावी
श्री मरांडी ने राज्य की महागठबंधन सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य की हेमन्त सोरेन की सरकार पर दलाल और विचौलिये हावी है। एक प्रकार से कहे तो राज्य की सरकार दलाल और विचौलिये ही चला रहे है। तभी तो मुख्यमंत्री के सुरक्षा में तैनात सिपाही का अत्याधुनिक हथियार विचौलिये के घर से बरामद हो रहा है। ट्रांसफर पोस्टिंग हो जाने के बाद भी उसे वापस ले लिया जाता है इन विचौलियों के कारण।
उन्होंने कहा कि भाजपा इसे सहन नही कर सकती। अब सरकार ने सभी मर्यादाओं को तोड़ दिया है। सरकार के दमन से भाजपा कार्यकर्ता डरने वाले नही हैं। हमारा आंदोलन आगामी 7 नवंबर से शुरू हो रहा और तब तक चलेगा जब तक सरकार को उखाड़ नहीं देंगे। प्रेस वार्ता में प्रदेश मीडिया प्रभारी शिवपूजन पाठक एवं प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव भी उपस्थित थे।