गांठ बांध लें भाजपा-संघ के लोग, रथयात्रा के दौरान मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन को हूटिंग करना आपको ही महंगा पड़ेगा, इस प्रकार की हरकत से आप पूरे प्रदेश से साफ हो जायेंगे
गांठ बांध ले, भारतीय जनता पार्टी और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के लोग, रांची के जगन्नाथपुर में आयोजित रथयात्रा के दौरान आप सभी ने जो हरकतें की हैं। उसका खामियाजा राज्य के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन को नहीं, बल्कि आपको ही उठाना पड़ेगा। इस प्रकार की हरकत आदमी को क्या, भगवान तक को पसन्द नहीं। जहां ‘जय जगन्नाथ’ के नारे लग रहे हो, वहां आप हर-हर मोदी कहकर किसी को चिढ़ाने की कोशिश करते हैं। यह तो महापाप है। भला किसी की भक्ति को नीचा दिखाना, यह आपको किसने सीखा दिया।
आम पाठक सोचते होंगे कि यह मैं क्या लिख रहा हूं। इसलिए आम पाठकों को भी यह मालूम होना चाहिए कि कल रथयात्रा थी। रथयात्रा में शामिल होने के लिए भगवान जगन्नाथ के भक्त राज्य के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन अपनी पत्नी कल्पना सोरेन के साथ श्रद्धा-निवेदित करने गये थे। लोग बताते है कि उसी दौरान भाजपा व संघ से जुड़े वहां उपस्थित लोगों ने राज्य के मुख्यमंत्री को नीचा दिखाने की कोशिश की।
जगन्नाथपुर के ही रहनेवाले समाजसेवी जगरनाथ साहू जिनको वहां का बच्चा-बच्चा जानता है। उन्होंने विद्रोही24 को बताया कि जब राज्य के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन लक्षार्चना पूजा करने के बाद नीचे आये तो भगवान जगन्नाथ की आरती उतारने के बाद वहां उपस्थित सभी लोग जय जगन्नाथ के नारे लगा रहे थे, जैसा कि आम तौर पर हमेशा होता है।
उस समय राज्य के मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन भी जय जगन्नाथ के नारे लगा रहे थे। तभी उन्हें जय जगन्नाथ का नारा लगाते देख, वहां संघ व भाजपा के लोगों ने हर-हर मोदी, घर-घर मोदी का नारा लगाना शुरु कर दिया। ये बातें वहां उपस्थित लोगों को नागवार गुजरा, मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन को निश्चित ही बुरा लगा होगा। इसे सभी ने देखा।
जगरनाथ साहू ने बताया कि उसके बाद इस प्रकार की स्थिति देख, हेमन्त सोरेन ने भगवान जगन्नाथ के रस्सा को खींचा और जल्दी वहां से निकल गये। इस दौरान कुछ मीडिया के लोग उनसे बातचीत करनी भी चाही, पर उन्होंने किसी से बात नहीं किया। जल्दी निकल गये। जगरनाथ साहू बताते है कि इस प्रकार की घटना संघ और भाजपा के लोग करें, ये अच्छा नहीं लगता।
भगवान जगन्नाथ के दरबार में, रथयात्रा के दौरान हर-हर मोदी और घर-घर मोदी का नारा नहीं, बल्कि केवल जय जगन्नाथ ही चलेगा, जैसा कि हेमन्त सोरेन जय जगन्नाथ कहकर भाव-विभोर हो रहे थे। जगरनाथ साहू बताते है कि कल की घटना की चर्चा जगरनाथपुर में जोरों पर हैं, ये घटना तो सभी के सामने घटी है। कोई झूठला नहीं सकता।