प्रभात खबर की भाजपा के प्रति निष्ठा व समर्पण देखिये कि यह जानते हुए कि भाजपा नेता मदन सिंह के स्कूल से एक करोड़ 14 लाख रुपये बरामद हुए हैं, फिर भी उसने अपने समाचार में भाजपा का नाम तक नहीं लिया
प्रभात खबर की भाजपा के प्रति निष्ठा व समर्पण देखिये कि यह जानते हुए कि भाजपा नेता मदन सिंह के स्कूल से एक करोड़ 14 लाख रुपये व तीन विदेशी शराब की बोतलें बरामद हुई हैं। फिर भी उसने अपने समाचार में भाजपा का नाम तक नहीं लिया। ठीक उसी प्रकार जैसे एक पतिव्रता नारी यह जानते हुए कि उसका पति गलत है, फिर भी वो अपने पति के खिलाफ एक भी शब्द सुनना या बोलना नहीं चाहती। रांची के नवोदित पत्रकारों को भाजपा और प्रभात खबर से ये कला जरुर सीखनी चाहिए, ताकि वो बहुत ही जल्दी परम तत्व को प्राप्त करते हुए दुनिया का सारा सुख प्राप्त करने में सफलता प्राप्त कर लें।
भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व रांची महानगर उपाध्यक्ष सह जमीन दलाल मदन सिंह के जी डी गोयनका स्कूल में कल रांची पुलिस की फ्लाइंग स्क्वायड टीम ने छापेमारी कर एक करोड़ 14 लाख रुपये बरामद किये। बताया जाता है कि ये सारे रुपये उक्त स्कूल के उप-प्रधानाध्यापक के कमरे में स्थित लकड़ी के आलमारी से बरामद हुए। मौके-वारदात यहीं से विदेशी शराब की तीन बोतलें भी बरामद की गई। जब छापेमारी हो रही थी तो स्कूल का मालिक मदन सिंह भी वहां मौजूद था।
बाद में पुलिस मदन सिंह को हिरासत में लेकर नामकुम थाना पहुंच गई और उससे पूछताछ करने लगी। एक अखबार दैनिक जागरण ने लिखा है कि वहां इसी दौरान कई भाजपा नेता पहुंच गये और हंगामा करने की कोशिश की। बाद में मदन सिंह को लेकर पुलिस एसएसपी कार्यालय लेकर चली गई। कल भाजपा नेता के स्कूल में हुई इस घटना की खबर अखबारों से पहले रांची की जनता के बीच पहुंच गई। सभी चर्चा करने लगे। सबके मन में यही सवाल थे कि क्या मदन सिंह के खिलाफ पुलिस कार्रवाई करेगी? क्योंकि मदन सिंह के तो भाजपा के बड़े-बड़े नेताओं से मधुर सम्पर्क हैं।
इसी बीच रांची के सभी प्रमुख अखबारों ने इस खबर को प्रमुखता से स्थान दिया है। लेकिन कुछ अखबारों ने चालाकी भी की हैं। चालाकी करनेवालों में भाजपा के प्रति सच्ची निष्ठा रखनेवाले तथा उसके प्रति अविस्मरणीय प्रेम प्रदर्शित करनेवाले अखबार प्रभात खबर का नाम सबसे ऊपर है। प्रभात खबर ने तो इस खबर को प्रमुख स्थान दिया है। लेकिन बड़ी ही चालाकी से भाजपा शब्द का नाम कहीं पर प्रयोग नहीं किया। जबकि मदन सिंह भाजपा से जुड़ा है। चुटिया में आज भी भाजपा का कोई कार्यक्रम हो और उसके बिना कोई कार्यक्रम सम्पन्न हो जाये। ये हो भी नहीं सकता। कई कार्यक्रम तो भाजपा के उसके आवास पर भी आयोजित हुए हैं।
लेकिन भाजपा कही इस घटना से बदनाम न हो, उसके चुनाव कार्य पर कोई बट्टा न लगे, उसके मतदाता प्रभावित न हो, इसका विशेष ध्यान प्रभात खबर ने रखा और अपने अखबार में भाजपा का कही भी नाम नहीं दिया और न ही मदन सिंह का नाम भाजपा से जोड़ा। राजनीतिक पंडित बताते हैं कि प्रभात खबर का ये आचरण ही बता देता है कि वो भाजपा व भाजपा नेताओं के प्रति कितना निष्ठा व प्रेम रखता हैं। जबकि हिन्दुस्तान ने इसी खबर में स्पष्ट रुप से लिखा है कि मदन सिंह का एक राजनीतिक दल से संबंध हैं। दैनिक जागरण और दैनिक भास्कर ने तो इस समाचार से न्याय करते हुए मदन सिंह को भाजपा नेता बता दिया है।
इधर प्रभात खबर जितना भी गंध क्यों न फैलाने की कोशिश करें या भाजपा के लिए खुलकर क्यों न कार्य करें। राज्य की जनता जानती है कि कल जो छापामारी हुई और जहां से एक करोड़ 14 लाख रुपये बरामद हुए। वो भाजपा नेता का स्कूल था। इधर बताया जा रहा है कि इस पूरे मामले में नामकुम थाने में भाजपा नेता मदन सिंह के खिलाफ आदर्श आचार संहिता उल्लंघन के मामले में एक प्राथमिकी दर्ज कर ली गई हैं।
रांची एसएसपी के अनुसार उन्हें गुप्त सूचना मिली थी कि इस विद्यालय में मंगलवार की देर रात भारी मात्रा में नकदी लाई गई है और इसे जीडी गोयनका स्कूल में छिपा कर रखा गया है। जिसका इस्तेमाल विधानसभा चुनाव में होने की संभावना है। जिसके आधार पर स्कूल में छापेमारी की गई और मदन सिंह को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई। बताया जा रहा है कि यह पूरी कार्रवाई दस घंटे तक चली। रुपये गिनने के लिए मशीन तक मंगवाई गई।
कल की यह घटना भाजपा की नींद उड़ा दी है। भाजपा नेताओं के पास इस घटना का कोई जवाब नहीं हैं। इधर झामुमो ने इस घटना पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि रांची में भाजपा के षडयंत्र का कल भंडाफोड़ हो गया। शिक्षा के मंदिर की आड़ में भाजपा लोकतंत्र को तार-तार करने का षडयंत्र रच रही थी। विधानसभा चुनाव को पैसों के रसूख से प्रभावित करने के लिए भाजपा ने अपने नेता के स्कूल में एक करोड़ से अधिक रूपये छुपवा रखे थे। संभवतः भाजपा के ढहते रेत के किले को खंगालने में इनका करोड़ों रुपयों का भंडार मिलेगा। शायद इसलिए भी अन्य राज्यों में भाजपा के राजनीतिक गिद्ध यहां बैठे हुए हैं। कहा गई भाजपा की शर्म? गुजरात के बाजार में बेच खाई, कि असम के बाजार में या मध्य प्रदेश के बाजार में?
इधर कई शिक्षाविद् इस बात को लेकर हैरान हैं कि स्कूल में इतने रूपये, और वो भी विधानसभा चुनाव के दौरान मिल रहे हैं? आखिर इतने पैसों का स्कूल में क्या काम? कइयों का कहना है कि उप-प्रधानाचार्य के आलमीरे से विदेशी शराबों की बोतले मिलना ये बताता है कि आज का समाज और आज के राजनीतिक दल कितने नीचे गिर चुके हैं।