राजनीति

सुप्रियो ने भाजपा के लिए काम कर रहे मीडियाकर्मियों के मुंह पर मारा करारा तमाचा, संवाददाता सम्मेलन में साफ कहा कि बुरा मत मानियेगा, अब आपके बिरादरी के लोग चुनाव का सुपारी भी लेने लगे हैं

बुरा मत मानियेगा आपके फ्रेटरनिटी (बिरादरी) के लोग अब चुनाव का सुपारी भी लेने लगे हैं। बड़ा विद्वान लोग, जिनको कहीं कोई पूछ नहीं, अमरीका में बैठा हुआ जुकरबर्ग फेसबुक में उनको एक्सेस (अपनी बात रखने का अधिकार) दे दिये, फेस शेप तो कर नहीं पायेंगे चुनाव के बाद, अभी आकलन किये जा रहे हैं, वाह रे कहीं से ले लो गाड़ी, कहीं से ले लो तेल और जुगाड़ कर लो, बना लो अपना खेल। शुभकामना आपको। बड़ी पंडी जी लोग हैं। बेकारे हम सुप्रियो भट्टाचार्यी हैं। मेरा काम भी उ ही लोग कर ले रहा हैं, कोई किसी को कितना सीट दे दें, तो कोई सरकार बना ले रहा हैं।

ये बातें आज झामुमो के केन्द्रीय महासचिव व प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने संवाददाता सम्मेलन में कहीं। सुप्रियो भट्टाचार्य का यह बयान रांची के सारे पत्रकार ही नहीं, बल्कि मीडिया में काम कर रहे उन सारे पत्रकारों के मुंह पर करारा तमाचा हैं। जो इस प्रकार के कुकर्म में लगे हैं और पत्रकारिता को कर्मनाशा बनाकर रख दिया है। आश्चर्य इस बात की भी हैं कि सुप्रियो कोई ये पहली बार ऐसा नहीं कह रहे हैं, कई बार उन्होंने पत्र व पत्रकारों को लेकर गंभीर टिप्पणी वे कर चुके हैं। लेकिन पत्रकारों व मीडिया संस्थानों पर इसका कोई असर नहीं दिख रहा।

सुप्रियो ने भाजपा के साथ गठबंधन कर चुनाव लड़ रही आजसू पर भी कड़ी टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि पिछली बार ये गांव की सरकार बना रहे थे। इस बार रोजगार की सरकार बनायेंगे। चुनाव में मात्र दस सीटों पर लड़ रहे हैं। 30 गारंटी भी हैं और दस में से नौ मंत्रालय भी बांट चुके हैं। जहां भाजपा स्थानीय नीति पर 1985 की बात करती हैं, ये अंतिम सर्वे सेटलमेंट की बात करते हैं। बीजेपी बोलती है को गोगो दीदी योजना में हम 2100 रुपये देंगे, ये हमारा ही नकल कर कहते हैं कि 2500 देंगे, जबकि हम पहले से देते आ रहे हैं।

सुप्रियो ने कहा भाजपा कहती है कि हम पेसा कानून नहीं मानेंगे, ये कहते हैं के पेसा कानून को सख्ती से लागू करवायेंगे। अरे पहले आपस में तय तो कर लो कि यहां सरकार बनेगी किसकी आजसू या भाजपा की। अभी तो एलजेपी जो एक सीट पर चुनाव लड़ रही हैं, उसका तो घोषणा पत्र आया ही नहीं, सच्चाई यही है कि उसी का घोषणा पत्र सही मायनों में यहां ये लोग लागू करने की बात करेंगे। झारखण्ड आंदोलनकारियों और उनके परिवारों को झामुमो ने सम्मान दिया, उनके परिवारों को नौकरियां दी और ये आंदोलनकारियों की सम्मान की बात करते हैं। मतलब इन पार्टियों की आपस में ही गजब की कंट्रोवर्सी है। अरे जब मुख्यमंत्री की वैकेंसी ही नहीं, तो सीएम इन वेटिंग की लाइन क्यों?

सुप्रियो ने कहा आजकल जो मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा जो यहां लगे हैं। उसे समझने की जरुरत है। छत्तीसगढ़ से झारखण्ड का चार जिला सीधा जुड़ा हुआ हैं – सिमडेगा, गुमला, लातेहार और गढ़वा। इसी से सटा जंगल है हंसदेवा अरण्य। जहां तीन लाख पेड़ अडानी के लिए काट डाले गये। कहने के लिए तो वो जगह राजस्थान विद्युत निगम को मिला है, जो पलसा कोल ब्लॉक है और केतेवासन तथा पलसा ईस्ट। लेकिन खुदाई का काम और जंगल के लूट का काम अडानी को मिला है। खेल तो यहां हैं लूटने की। सटा हुआ हैं झारखण्ड इसे भी लूट लो। वो भी अडानी के लिए।

सुप्रियो ने कहा कि पिछली विधानसभा में कैग का रिपोर्ट आया था। जिसमें पता चला कि पीएम किसान सम्मान निधि में 31 लाख किसानों के आवेदन को लेकर, 25 लाख को उसमें इलिजिबल कर दिया गया और भारत सरकार से 567 करोड़ रुपये ज्यादा ले लिया। इसलिए ये दोनों बड़े और छोटे भाई यहां मौजूद हैं। दरअसल ये पूरा खेल लूट का है। इस लूट के खेल में इन दोनों के बीच कंपीटिशन चल रही हैं, क्योंकि असम के मुख्यमंत्री आग लगाने और लूटने में पारंगत हैं। जबकि मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के व्यापमं प्रकरण को कौन नहीं जानता।

सुप्रियो ने कहा कि एक तो फूस्स होकर चला गया। उनका इशारा आदित्यनाथ योगी की ओर था। डोजर खड़ाकर वोट मांग रहे थे। लेकिन उनको ये नहीं पता कि झारखण्ड में लोग डोजर तब से देख रहे हैं, जब भाजपा का जन्म भी नहीं हुआ था। यहां तो 150 साल पहले से डोजर लोग देखते रहे हैं। जब झरिया में पहली बार कोयले के लिए खुदाई हुई। ऐसे लोगों को यह नहीं पता कि हम जब सारा वंश दांव पर लगाते हैं तो देश को यूरेनियम मिलता है। अगर हमलोग नहीं होते तो दिल्ली में आज भी ढिबरी  जल रही होती। सुप्रियो ने कहा कि हम ही तो देश को हीरा, सोना, चांदी, ताम्बा, अभ्रक, मैगेनाइट, डोलामाइट, लाइमस्टोन, ग्रेनाइट, सीसा, जस्ता आदि देते हैं। तभी तो देश आगे बढ़ रहा हैं।

उन्होंने कहा कि कभी चाणक्य ने ठीक ही कहा था कि जिस देश का राजा व्यापारी होगा, उस देश की प्रजा भिखारी होगी। आज देश देख रहा हैं। हम डरनेवाले लोग नहीं हैं। हमने उनकी सारी चुनौतियों को स्वीकार किया है। बड़े-बड़े सूरमा आये और चले गये। इस बार भाजपा भी देखेंगी कि हम क्या हैं? भाजपा के लोग कम से कम नेता प्रतिपक्ष लायक भी तो सीट जीत कर दिखायें। इनके जो पांच पूर्व सीएम हैं। वे पूर्व सीए की ही सुविधा प्राप्त करेंगे। नया सुविधा इन्हें नहीं मिलने जा रहा।

सुप्रियो ने कहा कि छत्तीसगढ़ जनजाति कल्याण आयोग ने यह माना है कि हंसदेवा के साथ ज्यादती हुई हैं। ग्राम सभा की बात नहीं सुनी गई हैं। ये आयोग हमारा नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ सरकार का है। पिछले वर्ष सुप्रीम कोर्ट ने भी इस पर संज्ञान लेते हुए बातें कही थी कि जो वहां अनियमतिता हुई हैं। वो बहुत ही गंभीर है। इसमें केवल छत्तीसगढ़ के पर्यावरण और जैविक विविधताओं का ही लॉस नहीं हुआ हैं। बल्कि उनके आस-पास के जो जिले हैं, उनका भी लॉस हुआ है। इसलिए हम झामुमो के लोगों के पास अपने सीमावर्ती जिलों को बचाने का भी संकट सामने आ गया हैं। हम इस संकट को अपने यहां पनपने नहीं देंगे। भाजपा को परास्त करेंगे। झारखण्ड को बचायेंगे।