झारखण्ड में हाथी उड़ानेवाले कुख्यात रघुवर शासन का अन्त, हेमन्त होंगे नये CM, दलाल किस्म के पत्रकार हेमन्त से नजदीकियां बनाने में लगे
याद करिये, कैसे राज्य के अखबार और चैनल एक-एक कर राज्य के निवर्तमान मुख्यमंत्री रघुवर दास की गोद में जाकर मचलते थे? कैसे राज्य के अखबार झूठे विज्ञापन को अपने संपादकीय पेज पर डालकर झारखण्ड की जनता का अहित करते थे? कैसे यहां के चैनल वाले कॉनक्लेव कराकर, राज्य सरकार से ही पैसे लेकर रघुवर दास की जय-जयकार किया करते थे, और जब हेमन्त सोरेन की बात आती थी, तो उनकी बातों को वो स्थान नहीं मिलता था, जो एक नेता प्रतिपक्ष को मिलना चाहिए।
उदाहरणस्वरुप हाल ही में मिहिजाम में मुख्यमंत्री रघुवर दास ने नेता प्रतिपक्ष हेमन्त सोरेन को भरी सभा में गाली दी, जरा पूछिये यहां के प्रमुख अखबारों/चैनलों से किसने उस समाचार को स्थान दिया? पूछिये मोदी और शाह के भाषण के लिए अखबारों और चैनल को बिस्तर बना देनेवालो दलाल पत्रकारों से कि क्या ये वहीं स्थान नेता प्रतिपक्ष को दिया करते थे क्या?
मैंने शुरु से ही कह रखा था कि इस बार जब भी सरकार बनेगी, हेमन्त सोरेन की सरकार बनेगी और जिस दिन इस निवर्तमान मुख्यमंत्री रघुवर दास और उनके कनफूंकवों ने हमें झूठे मुकदमे में फंसाया और अखबारों में झूठी समाचार छपवाकर मेरे सम्मान से खेला, तथा जहां-जहां मैंने काम करने के लिए अपनी उपस्थिति दर्ज कराई, वहां इन सब ने अवरोधक बनने का काम किया, तभी मैंने उसी दिन संकल्प किया, कि मेरा पहला और अंतिम लक्ष्य इस रघुवर सरकार को मिट्टी में मिलाना और हेमन्त सोरेन को मुख्यमंत्री बना देना है और यह ईश्वरीय कृपा है कि हमें यह यश प्राप्त हुआ, आज हेमन्त सोरेन राज्य के मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं।
जो लोग हमारे विद्रोही24.डॉट कॉम के नियमित पाठक हैं, वे जानते हैं कि मैंने राज्य के मुख्यमंत्री और उनके साथ चलनेवाले कनफूंकवों के गलत कार्यों, जिसके कारण राज्य का अहित हो रहा था, जनता के समक्ष रखा और जनता ने उसे स्वीकार भी किया। हमारे पोर्टल पर मिले हजारों लाइक इस बात को इंगित करते है कि लोगों ने मेरे द्वारा लिखी आर्टिकल को हाथों-हाथ लिया, लाइक किया।
कमाल है, एक समय ऐसा था कि हेमन्त सोरेन के घर में बड़े-बड़े कैमरेवाले, बड़े-बड़े कलम वाले नजर नहीं आते थे, आज भावी सीएम के आवास पर बड़ी संख्या में पत्रकार नजर आ रहे थे, इनमें वे पत्रकार भी शामिल थे, जिन्होंने राज्य के निवर्तमान सीएम रघुवर दास की दलाली में पत्रकारिता की धज्जियां तक उड़ा दी, आज हेमन्त सोरेन से संपर्क मजबूत करने के लिए पापड़ बेलने शुरु कर दिये थे, अब ऐसे लोगों को हेमन्त अपने पास बिठाते हैं या इन्हें औकात बताते हैं, ये तो वक्त बतायेगा, लेकिन फिलहाल स्थिति यहीं है।
आश्चर्य है, जिस मुख्यमंत्री रघुवर दास पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को गर्व हुआ करता था, जो बार-बार बोला करते थे कि विकास देखना हैं तो झारखण्ड जाइये, आज वह रघुवर दास खुद अपनी सीट गंवा चुका हैं, जिन महिलाओं-बेटियों पर अत्याचार करनेवालों को इस निर्वतमान मुख्यमंत्री रघुवर दास ने टिकट दिलवाने में एड़ी चोटी एक कर दी थी, वो सारे के सारे अपराधी टाइप के लोग भाजपाई विधायक बन गये, यानी चौबे गये छब्बे बनने दूबे बनके आये, वाली कहावत चरितार्थ हो गई।
रघुवर दास ने जितना अत्याचार किया हैं, यहां की बेटियों और महिलाओं पर, उतना किसी ने नहीं किया, इसी के द्वारा जनसंवाद केन्द्र चलाया जाता हैं, वहां काम करनेवाली दो लड़कियों ने प्रधानमंत्री को आवेदन लिखा कि जनसंवाद केन्द्र में गलत हो रहा हैं, उन लड़कियों को तो मुख्यमंत्री ने न्याय नहीं दिलवाया, उलटे उन्हें ही महिला आयोग से दोषी करार दिलवा दिया, जबकि विभागीय जांच में स्पष्ट हो गया था कि जनसंवाद में महिलाओं के साथ गलत हो रहा हैं, कमाल है कि महिला आयोग ने अपने जांच में विभागीय अधिकारियों से बातचीत तक नहीं की थी, क्या ये शर्मनाक नहीं है।
कानून-व्यवस्था नाम की तो यहां कोई चीज ही नहीं, यहां की पुलिस मर्डरर तक को साक्ष्य के अभाव में अदालत में छुडवाने के लिए प्रयासरत रहती हैं, ऐसे में यहां महिलाओं-बेटियों पर अत्याचार होना तो स्वाभाविक है। रघुवर दास और उनकी पार्टी को हारना तो तय था, क्योंकि भाजपा और संघ के आनुषांगिक संगठनों के कई सदस्य इतने नाराज हो गये थे, कि वे रघुवर दास को झेलने को तैयार नहीं थे, इसलिए इन्होंने चुपेचाप चचा साफ का नारा दिया और लीजिए, चचा (रघुवर) साफ भी हो गये।
आज जनता ने फैसला सुना दिया, और रघुवर दास को बाहर का रास्ता दिखा दिया, जो बताता है कि इन्हें जाना ही चाहिए। बताइये ये भारत के किसी राज्य का पहला मुर्खमंत्री बना जो हाथी उड़ा दिया, भला भारी-भरकम हाथी भी उड़ता हैं, इनके परिवारवालों ने तो जमकर पांच सालों तक मस्ती काटी है, जातिवाद का नंगा नाच इस व्यक्ति न किया है, ऐसे में अब मुख्यमंत्री के रुप में हेमन्त सोरेन को बहुत काम करना होगा।
आज हमारे पास कुछ लोगों के फोन आये, जिन्होंने हमें पत्रकारिता के लिए विशेष बधाई दी तथा थोड़ा हमें श्रेय देने की कोशिश की, उनमें प्रमुख नाम है, वरिष्ठ पत्रकार गुंजन सिन्हा एवं ज्ञानेन्द्र नाथ, परवेज कुरैशी, राम कृष्ण ठाकुर, प्रमोद पासवान, पंकज कुमार पाठक, रुपम किशोर सिंह, रजिया अंसारी एवं कांग्रेसी नेता शशिभूषण राय। हम इन सभी के शुक्रगुजार है कि कम से कम इन लोगों ने हमें इस अवसर पर याद किया।
आज रघुवर दास रुपी घननन्द का सर्वनाश हो चुका है, एक चाणक्य ने फिर से एक नये हेमन्त सोरेन रुपी चंद्रगुप्त को मगधरुपी झारखण्ड का शासक बनाने में सफलता प्राप्त की हैं, एक बार फिर से हेमन्त को मिली सफलता के लिए हमारी ओर से बधाई।
बहुत बहुत बधाई आप को