फीका रहा जन आशीर्वाद यात्रा का पहला दिन, युवाओं ने उठाए सवाल, रघुवर से ज्यादा अर्जुन लोगों की पहली पसंद
जिस दिन का इंतजार था, वो दिन आज खत्म हो गया, संथाल परगना से झामुमो को उखाड़ फेंकने के लिए यूपी से मंगाई गई बस से मुख्यमंत्री रघुवर दास ने जोहार जन आशीर्वाद यात्रा प्रारम्भ कर दी। भाजपा के बड़े-बड़े नेताओं ने संथाल की सभी 18 सीटों पर भाजपा को जीताने के लिए लोगों से अपील की, पर इसका लाभ मिलेगा, ये भविष्य के गर्भ में हैं, पर आज की सभा ने ये क्लियर कर दिया कि आज भी अर्जुन मंडा लोगों की पहली पसन्द है, जब वे मंच से भाषण दे रहे थे, तब सभी उनका भाषण ध्यान पूर्वक सुन रहे थे।
बिना अर्जुन के इस बार लक्ष्य को भेद पाना संभव नहीं
हालांकि आज की सभा को सफल बनाने के लिए भाजपाइयों ने कड़ी मेहनत की थी, बड़े-बड़े विशाल पंडाल बनाये थे, पर भीड़ उतनी नहीं आ सकी, सभा में समाचार को संकलन करने पहुंचे एक पत्रकार ने विद्रोही24.कॉम को बताया कि सभा में मात्र दस हजार की भीड़ थी, जो अन्य जगहों से लाये गये थे।
सभा को संबोधन के क्रम में गृह मंत्री अमित शाह ने राज्य के वर्तमान मुख्यमंत्री रघुवर दास और पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा की संयुक्त रुप से तारीफ की, शायद उन्हें इस बात का अंदाजा लग चुका है कि बिना अर्जुन के इस बार लक्ष्य के भेद पाना संभव नहीं, शायद यहीं कारण रहा कि रथ पर दोनों को संयुक्त रुप से चढ़ाया गया और भाजपा के सम्मान की रक्षा की जिम्मेदारी दोनों को सौंप दी।
अमित शाह द्वारा पूरे देश में एनआरसी लागू करने की घोषणा का जनता ने किया समर्थन
गृह मंत्री अमित शाह ने लोगों को याद दिलाया कि किस प्रकार नरेन्द्र मोदी ने धारा 370 समाप्त कर, कश्मीर की समस्या को सदा के लिए समाप्त कर दिया, साथ ही एनआरसी पर भी कहा कि वे एनआरसी पूरे देश में लागू करेंगे, जिसका जनता ने समर्थन भी किया। उन्होंने झारखण्ड को भाजपा के लिए अतिमहत्वपूर्ण स्टेट बताते हुए कहा कि यह राज्य खनिज सम्पदा से भरा प्रदेश है, और इसमें इतनी क्षमता है कि पूरे देश को नई दिशा दे, इसलिए यहां भाजपा जैसी पार्टी का शासन होना बेहद जरुरी है।
वर्तमान सीएम रघुवर दास पर पूर्व सीएम अर्जुन मुंडा ज्यादा भारी
इधर जैसे ही मुख्यमंत्री रघुवर दास ने भाषण देना शुरु किया, उनके भाषण से नाराज युवाओं की एक अच्छी टीम ने सोशल साइट फेसबुक के माध्यम से उनके ही द्वारा प्रसारित सोशल फेसबुक लाइभ में सवाल दागना शुरु कर दिया, और इधर जब युवाओं ने सवाल दागने शुरु किये, तब इनके सवालों से घबराये भाजपा आइटी सेल के लोगों ने सक्रिय होना शुरु किया, पर उसके बावजूद सवालों की संख्या इतनी थी कि भाजपा के आइटी सेल में बैठे लोग भी भाग खड़े हुए, यहीं नहीं इस फेसबुक लाइभ में भी भाजपाइयों के बीच में रघुवर दास से ज्यादा अर्जुन मुंडा को ही लोग ज्यादा लाइक करते दिखे। जरा देखिये, इधर रघुवर दास का फेसबुक लाइभ चल रहा हैं, और युवा क्या सवाल दाग रहे हैं –
युवाओं में भारी नाराजगी, फेसबुक लाइभ के दौरान रघुवर दास के भाषण के क्रम में सवालों की झरिया लगाते नजर आये युवा
अभिषेक आर्यन – अगर बीजेपी हेडक्वार्टर इस कमेन्टस को रीडिंग कर कर रहा हैं, तो जान ले बीजेपी को कोई वोट नहीं करेगा। झारखण्ड में नेताओं से बात करना बंद करें और पब्लिक से फीड बैक लें, सच्चाई पता चल जायेगा, कि कितना नाराज है यहां के लोग? चार-पांच वर्षों में किसी को भी नौकरी नहीं लगा? कंचन मिंज – कुछ नहीं किया है? बेरोजगारी दी है। मार्क संतोष – डूब मरो कहीे। अमित कुमार – झारखण्ड का एक ही मांग, अर्जुन मुंडा को दो सम्मान।
एक ने कहा बीजेपी को इस बार विधानसभा चुनाव में सिर्फ दस सीट मिलेगा
निमाई कुमार – मेरा काम नहीं हुआ जैसे गैस, प्रधानमंत्री योजना से संबंधित काम। अक्की – जॉब दें, अभी दें, युवा निराश है। गणेश गोस्वामी – रघुवर दास झारखण्ड के लिए क्या किया? सिवाय लूटने के। मोती लाल मरांडी – गरीब आदमी कैसे पढ़ेगा? नवाब जी – रघुवर दास, झारखण्ड के लिए सही नहीं है। सनोज – रोजगार उपलब्ध कराएं। मनीष कुमार – बीजेपी को सिर्फ दस सीट मिलेगा। शिव प्रसाद बर्णवाल – इस बार रघुवर दास नहीं। सौरभ कुमार पांडे – रघुवर नो, बीजेपी से कोई और सीएम हो। संदीप कुमार – झारखण्ड के युवाओं, ओबीसी को क्या रोजगार मिला? मंटू सिंह, बलराम सिंह और अजय बजाज ने खुलकर अर्जुन मुंडा की तारीफ की।
कुल मिलाकर देखें तो भाजपा के शीर्षस्थ लोगों में थोड़ी बहुत भी बुद्धिमानी होगी तो आज की सभा और चल रहे फेसबुक लाइभ में आ रहे कमेन्ट्स से उन्हें अंदाजा लग गया होगा कि लोग रघुवर दास से कितने खुश है? लोकसभा चुनाव में बारह सीट जीतने के मतलब यह नहीं कि यहां सब कुछ ठीक-ठाक है, अगर हेमन्त सोरेन-बाबू लाल मरांडी बढ़िया से एक हो गये और कांग्रेस ने अपने नखरे बंद कर, इनके नेतृत्व में चुनाव लड़ने की ठान ली, तो भाजपा कुछ भी कर लें, यहां सत्ता में नहीं आ सकती।
गृह मंत्री अमित शाह, ओम प्रकाश माथुर, नंद किशोर यादव, और राज्य के छुटभैये नेता जान लें कि जनता की नजरों में राज्य के मुख्यमंत्री रघुवर दास कही नहीं हैं, ले-देकर मेहनत नरेन्द्र मोदी को ही करना होगा, तब जाकर कुछ सम्मान जनक सीट भाजपा ला पायेंगी, नहीं तो युवा तो नाराज है ही, जनता बढ़िया से अंतिम कर्म कर देगी।
राजनीतिक पंडितों ने कहा, ज्यादा खुूशफहमी अगर पालना है तो 65 क्यों? कहिये अबकी बार 81 पार
राजनीतिक पंडित बताते है कि आश्विन में जब पूरे देश में हिन्दू समाज कोई शुभ कर्म नहीं होता, उस समय घोर हिन्दूपार्टी कहलानेवाली भाजपा का जोहार जन आशीर्वाद यात्रा का दिमाग किसने दिया, भगवान जानें। राजनीतिक पंडित यह भी कहते है कि भाजपा के लोग ने बड़ी ही सुनियोजित तरीके से जन आशीर्वाद यात्रा के लिए जामताड़ा का चुनाव किया था, उन्हें लगा कि चूंकि जामताड़ा बहुत ही छोटा सा जिला है, वहां भाजपा के बड़े नेता कभी पहुंचे नहीं है, पहली बार पहुंचने से वहां जनता में उत्साह दिखेगा, लोग भारी संख्या में पहुंचेंगे।
लेकिन जिस प्रकार से रघुवर दास के प्रति लोगों की नाराजगी है, वो नाराजगी यहां स्पष्ट दिखी, अगर भाजपा के लोग समझदार होंगे, तो समझेंगे, नहीं तो गइल भइसया पानी में, वाली कहावत चरितार्थ होते देर नहीं लगेगी, रही बात अबकी बार 65 पार तो भाई आपका माइक और आपका लाउडस्पीकर, फाड़ते रहिये गला और कहते रहिए अबकी बार 81 पार, ये 65 पर क्यों अटके हैं?