हजारीबाग में मंगलवारी जुलूस पर एक विशेष समुदाय द्वारा हिन्दूओं पर की गई पत्थरबाजी का मामला लोकसभा और विधानसभा में उठा, बाबूलाल मरांडी ने सरकार से पूछा कि केवल हिन्दूओं के त्यौहार पर ही ऐसा क्यों?
हजारीबाग में कल मंगलवारी जुलूस के दौरान एक विशेष समुदाय द्वारा हिन्दूओं पर की गई पत्थरबाजी का मामला लोकसभा और विधानसभा दोनों जगहों पर उठा। लोकसभा में यह मामला हजारीबाग के भाजपा सांसद मनीष जायसवाल ने उठाया तो विधानसभा में यह मामला हजारीबाग के विधायक प्रदीप प्रसाद ने उठाया। प्रदीप प्रसाद ने जैसे ही मामला उठाया। सदन में गहमागहमी हो गई। भाजपा के सारे विधायक वेल में आ गये और अपने आक्रोश को व्यक्त किया।
इसी बीच नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने सदन में कहा कि जब भी हिन्दूओं का पर्व आता है। दंगा-फसाद होता है। सरस्वती पूजा हो या होली हो या कोई और त्योहार झारखण्ड के किसी न किसी कोने में इस दौरान पत्थरबाजी आम बात हो गई है। बाबूलाल मरांडी ने कहा कि अब जबकि एक से एक तकनीक हमारे पास हैं और उन तकनीकों का इस्तेमाल कर ऐसे असामाजिक तत्वों पर नजर रखी जा सकती हैं और उनके खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जा सकती है। उसके बाद भी सरकार का उन तकनीकों को इस्तेमाल नहीं करना, उन्हें समझ नहीं आ रहा।
उन्होंने कहा कि आखिर सरकार इस दौरान सीसीटीवी का इस्तेमाल क्यों नहीं करती और अगर नहीं हैं, तो भाड़े पर उसे क्यों नहीं लेती। ताकि ये तो पता चल सकें कि हिन्दूओं के त्यौहारों पर ये पत्थरबाजी कौन करता है, बमबाजी कौन करता है? ये घटना घट जाने के बाद तुष्टिकरण के नाम पर प्राथमिकी और उस प्राथमिकी में आधे हिन्दू और आधे मुसलमानों का नाम दे देना ये कहां तक न्यायसंगत है? उन्होंने पूछा कि आखिर ईद और मुहर्रम पर पत्थरबाजी या बमबाजी क्यों नहीं होता?
बताया जा रहा है कि कल हजारीबाग में मंगलवारी जुलूस के दौरान मुस्लिमों ने हिन्दूओं पर पत्थरबाजी व बमबाजी की। जिसमें कई हिन्दू घायल हो गये, साथ ही बड़ी संख्या में पुलिस के वरीय पदाधिकारी भी घायल हो गये। उधर लोकसभा में मनीष जायसवाल ने यह मामला उठाया और कहा कि झारखण्ड में सरस्वती पूजा हो या शिवरात्रि या कलश यात्रा यहां एक विशेष समुदाय द्वारा हिन्दूओं के पर्व-त्यौहारों पर पत्थरबाजी अब आम बात हो गई है।
उन्होंने कहा कि लगता है कि जम्मूकश्मीर के पत्थरबाजों से कैसे निबटा गया और यूपी में कैसे ऐसे लोगों पर बुलडोजर चलता है, ये झारखण्ड सरकार नहीं सीखीं। मनीष जायसवाल ने लोकसभा में यह भी कहा कि आनेवाले दिनों में 6 अप्रैल को रामनवमी है। अतः निर्विघ्नता से रामनवमी संपन्न हो जाये, इसके लिए केन्द्र अर्द्धसैनिक बलों को वहां लगाये, ताकि हिन्दूओं का पर्व शांतिपूर्वक संपन्न हो सकें।