क्या आप चाहेंगे कि राज्य में फिर से एक ऐसा मुख्यमंत्री बनें, जो राज्य के विकास में बाधक हो…
क्या आप चाहेंगे कि राज्य में फिर से एक ऐसा मुख्यमंत्री बनें…
· जो राज्य में पूंजी निवेश के नाम पर, झाविमो सुप्रीमो एवं राज्य के प्रथम मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी के कथनानुसार मोमेंटम झारखण्ड के आयोजन के नाम पर राज्य की जनता का 900 करोड़ रुपये केवल विदेशी यात्रा पर खर्च कर दें?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में ऐसा मुख्यमंत्री आ जाये, जो विशालकाय हाथी उड़ाने की योजना पर काम करने लगे, क्या दुनिया में कभी हाथी उड़ा हैं?
· क्या आप चाहेंगे कि जनता की जरुरतों को छोड़ यानी साहेबगंज-मनिहारी में सड़क पूल बनाने के बजाय आपको बंदरगाह थमा दें, जिससे जनता को कुछ फायदा ही न होनेवाला हो?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसा मुख्यमंत्री फिर से बन जाये, जो दुष्कर्म पीड़िता, जिसे जिन्दा जला दिया गया हो, वह बूटी मोड़ का रहनेवाला पिता जब न्याय मांगने जाय, तो उसे सरेआम भरी सभा में बेइज्जत कर दें?
· क्या आप चाहेंगे कि आपके परिवार के लोग एंबूलेंस की जगह बांस की बहंगी पर स्वास्थ्य सेवा का लाभ लेने के लिए अस्पताल पहुंचे, साहेबंगज की घटना याद करिये?
· क्या आप चाहेंगे, कि आपके राज्य में किसानों की आत्महत्या करने का दर बढ़ जाये?
· क्या आप चाहेंगे कि रक्षा-शक्ति विश्वविद्यालय के नाम पर वहां पढ़े छात्र दूसरे जगह जाकर एटीएम गार्ड बनने का काम करें?
· क्या आप चाहेंगे कि पूरे राज्य में 7000 स्कूलों को बंद करवा देनेवाला मुख्यमंत्री आपको फिर से मिले?
· क्या आप चाहेंगे कि किराना के दुकानों पर शराब बेचनेवाला मुख्यमंत्री राज्य का बागडोर संभाले?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में यौन शोषण के आरोपी विधायक को समर्थन देनेवाला उसका मनोबल बढ़ानेवाला व्यक्ति राज्य का मुख्यमंत्री बने? बाघमारा का दबंग भाजपा विधायक ढुलू महतो और अभी हाल ही में शामिल शशिभूषण मेहता इसके उदाहरण है।
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में झूठ बोलनेवाला मुख्यमंत्री फिर से बहाल हो, जो कहता है कि दिसम्बर 2018 तक अगर हम 24 घंटे बिजली नहीं दे सकें तो वोट मांगने नहीं आयेंगे, और वह वोट मांगने भी आ रहा?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसा शिक्षा मंत्री हो, जो व्यक्ति दिवंगत नहीं हैं, और उसे भी दिवंगत मानते हुए उसके चित्र पर माल्यार्पण कर दें? पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम को जिन्दा रहते हुए, यहां की शिक्षा मंत्री ने उनके चित्र पर माल्यार्पण कर दिया था।
· क्या आप चाहेंगे कि आपके राज्य में ऐसे-ऐसे मंत्री हो, जो किसी को मंच पर बोलने भी न दें, पिछले साल रेडिसन ब्लू में कृषि मंत्री ने एक अखबार के कार्यक्रम में क्या किया था, आपको मालूम ही होगा?
· क्या आप चाहेंगे कि मुख्यमंत्री के परिवार की हरकतों से आम आदमी का जीना मुहाल हो जाये, और वे लोग अपना जमीन-जायदाद बेचने तक को मजबूर हो जाये, और वह इलाका ही छोड़ने के प्लान पर विचार करना शुरु कर दें?
· क्या आप चाहेंगे कि न्यायालय को गुमराह करनेवाला व्यक्ति मुख्यमंत्री बने, जो खुद चुनाव आयोग को कहता है कि उसके उपर गंभीर केस चल रहे हैं, और न्यायालय जब पूछती हैं तो अपने अपराध को छुपा लेता हैं?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में ऐसे-ऐसे आइपीएस/आइएएस अधिकारी हो जो सरकार के इशारे पर भाजपा कार्यकर्ता के रुप में काम करें, पूर्व पुलिस महानिदेशक तो भाजपा प्रवक्ता तक बनने का काम किया था और 12 सितम्बर को तो प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आगमन पर यहां के कई उपायुक्तों ने अपने टिवटर ओर फेसबुक का दुरुपयोग किया?
· क्या आप चाहेंगे कि कोई पूर्व पुलिस महानिदेशक अपनी पत्नी के नाम पर सरकारी जमीन वह भी 51 डिसमिल अपनी पत्नी के नाम पर करवा लें और सरकार उस पर कार्रवाई तक न करें?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसा मुख्यमंत्री हो, जिस पर उनके ही कैबिनेट के मंत्री यह टिप्पणी करें कि उसे कैबिनेट की मीटिंग में शामिल होने में शर्म महसूस होती है?
· क्या आप चाहेंगे कि एक आम आदमी सामान्य बुखार से मर जाये, और उसे एक रुपये तक की दवा नसीब न हो, और वह अपने बच्चे के शव को कंधे पर लेकर अपने घर लौंटे, याद करिये गुमला की यह हृदय विदारक घटना?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसे मुख्यमंत्री का शासन हो, जिसके शासनकाल में संतोषी जैसी छोटी बच्ची समेत कई लोग भूख के कारण मौत को गले लगा लें?
· क्या आप चाहेंगे कि सरकार पांच साल बीता दें और आपके राजधानी रांची के रिंग रोड को भी बनाने में, उसे पूरा करने में असमर्थ हो?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसा मुख्यमंत्री बने, जो रांची से टाटा तक की रोड को बना पाने में असमर्थ हो?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसा मुख्यमंत्री हो जो खुद दुपहिये वाहन चलाते वक्त हेलमेट का प्रयोग नहीं करता हो, और जब आम जनता ऐसा करें तो उससे जुर्माना वसूलता हो?
· क्या आप चाहेंगे कि आपके राज्य में अल्पसंख्यकों, कमजोर वर्गों, व दलितों को मॉब लिंचिग के माध्यम से मारनेवालों का दबदबा हो?
· क्या आप चाहेंगे कि आपके राज्य में कानून-व्यवस्था पूरी तरह ठप पड़ जाये, हाल ही में रांची के गहना घर में जो कुछ घटा और जो कल यानी 21 अक्टूबर को राज्य के सभी व्यापारियों ने अपने प्रतिष्ठान बंद रखे, ये प्रमाण है कि इस राज्य में कैसा शासन चल रहा हैं?
· क्या आप चाहेंगे कि राज्य में एक ऐसी पार्टी की सरकार हो, जिसके राज्य में बड़े-बड़े कोनार नहर को चूहे निगल जाते हो, और पाकुड़ में सड़क पुल को मामूली बाढ़ का पानी अपने साथ बहा ले जाता हो?
· जहां कोई महिला सुरक्षित न हो।
· जो हमेशा झूठ बोलता हो, कहता हो कि उसका पूरा इलाका ओडीएफ हो गया, पर होता नहीं है, वो कहता है कि पूरे गांव में बिजली पहुंच गई, जबकि रांची में ही कई इलाकें हैं, जहां बिजली नहीं पहुंची।
· जहां पारा टीचरों, सहिया, आंगनवाड़ी महिलाओं को कई महीनों से मानदेय नहीं मिलता हो, और जब वे मानदेय की बात करते हो, तो उन पर लाठी-डंडे बरसाये जाते हो।
· जहां 15 नवम्बर झारखण्ड स्थापना दिवस के दिन पत्रकारों को भी बेरहमी से पीटा जाता हो।
· जहां मुख्यमंत्री जनसंवाद केन्द्र में कार्यरत महिलाओं के साथ भी दुर्व्यवहार होता हो और जब वो न्याय की बात करती हैं, तो उन्हें ही गलत ठहरा दिया जाता हो।
· जहां जेपीएससी पांच सालों में एक भी परीक्षा नहीं आयोजित कर पाती हो।
· जहां आज भी पलायन एक बहुत बड़ी समस्या है।
· जहां डिजिटल इंडिया का ख्बाव दिखाया जाता हो, और वो डिजिटल इंडिया दो दिनों में ही टांय-टांय फिस्स हो जाता हैं, बोकारो की घटना याद होगा ही।
· और सबसे बड़ी बात जहां के मुख्यमंत्री को बोलने की तमीज ही न हो, जो एक समुदाय को गढ़वा में, नेता प्रतिपक्ष और अपने विरोधियों को विधानसभा में तथा विभिन्न जन-सभाओं में अपने ही पार्टी के नेताओं और विपक्षी दलों के नेताओं के लिए अशोभनीय भाषा का प्रयोग करता हो।
निर्णय आप करिये, परिवर्तन समय की मांग हैं, झारखण्ड की अस्मिता और सम्मान के लिए कमर कसिये, सरकार बदलिये।