कोरोना वायरस से संपूर्ण मानवता को त्राण दिलाने के लिए योगदा संन्यासियों ने भी लगाया जोर
ऐसे तो हर व्यक्ति/संस्था/केन्द्र व राज्य सरकारें अपने-अपने ढंग से कोरोना नामक वायरस से लड़ रहे/रही हैं, पर कोरोना वायरस और उसके दंश से कराह रही मानवता को त्राण दिलाने के लिए योगदा सत्संग सोसाइटी के संन्यासियों का समूह भी कम भूमिका नहीं निभा रहा हैं।
केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा दिये गये निर्देशों का पालन करते हुए, सोशल डिस्टेन्स प्रकिया को अपनाते हुए यहां के संन्यासियों ने स्वामी ईश्वरानन्द के नेतृत्व में बेहतर ढंग से विशेष ध्यान व प्रार्थना के द्वारा पूरे विश्व के मानवों के कल्याण के लिए अपनी तपस्या को आज तक विराम लगने नहीं दिया हैं।
ज्ञातव्य है कि जैसे ही कोरोना वायरस को लेकर केन्द्र व राज्य सरकार ने जो दिशा-निर्देश जारी किये, उन दिशा-निर्देशों का पालन करते हुए योगदा सत्संग सोसाइटी ने योगदा सत्संग आश्रमों, केन्द्रों, मंडलियों और रिट्रीट सेन्टरों के अंदर चल रही सारी आध्यात्मिक गतिविधियों को आगामी 20 अप्रैल तक के लिए रोक लगा दी।
आगामी अप्रैल में जो साधना संगम होनेवाले थे, उस पर भी रोक लगा दी गई, इसके साथ ही संन्यासियों के विभिन्न टूरों तथा रिट्रीटों को भी रद्द कर दिया गया। योगदा सत्संग आश्रम ने अपने सारे भक्तों से अनुरोध भी किया है कि वे देश के विभिन्न योगदा आश्रमों या रिट्रीट सेन्टरों में जाने के लिए अगर कोई प्रोग्राम बनाये हैं तो वे तत्काल अपनी यात्रा फिलहाल स्थगित कर दें, साथ ही यह भी कहा हैं कि जो ग्रुप मेडिटेशन में भाग लेना चाहते हैं, वे ऑनलाइन ग्रुप मेडिटेशन में भाग ले सकते हैं।
इस कार्य में योगदा के संन्यासियों का दल प्रत्येक सोमवार और गुरुवार को सायं 5.10 से लेकर 6.30 तक उनका मार्गदर्शन करेगा। अन्य जानकारियों के लिए योगदा सत्संग सोसाइटी के हेल्प डेस्क से सोमवार से लेकर शनिवार तक सुबह के 9 बजे से लेकर संध्या 4 बजे तक इन नंबरों पर संपर्क किया जा सकता है – 6201394775, 6201395589, 9431917333/444/555.
हम आपको बता दें कि जब-जब देश या विश्व पर आपत्तियां या प्राकृतिक विपदाएं आई हैं, देश के संतों/महात्माओं ने अपने विशेष प्रार्थना से देश और विश्व में शांति स्थापित करने का मार्ग प्रशस्त किया हैं, ऐसे में जब कोरोना ने पूरे विश्व को अपनी चपेट में ले लिया हैं तो भला योगदा सत्संग सोसाइटी से जुड़े संन्यासियों का समूह भला कैसे पीछे रहता।
शायद यही कारण है कि योगदा के संन्यासियों का दल परमहंस योगानन्द के बताये हुए मार्ग पर चलकर, आई हुई इस प्राकृतिक विपदा पर विजय प्राप्त करने के लिए विशेष ध्यान व प्रार्थना में लगे हैं। जो लोग योगदा सत्संग आश्रम के संन्यासियों पर विश्वास करते हैं, उनका मानना है कि इन संन्यासियों द्वारा किया गया प्रार्थना और विशेष ध्यान कभी विफल नहीं जा सकता, जल्दी ही यह आई प्राकृतिक विपदा सदा के लिए विलुप्त हो जायेगी।
योगदा सत्संग आश्रम से जुड़े लोगों का कहना है कि फिलहाल सारे देशवासियों को चाहिए कि केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा दिये गये आदेशों/निर्देशों को अक्षरशः पालन करें और घर पर ही ध्यान/प्रार्थना करें, ताकि हम अपने भारत और पूरे विश्व के देशों के नागरिकों को इस महामारी से बचा सकें।